ADD

खोकर मुझे तुझे अब पाना आ गया


खोकर मुझे तुझे अब पाना आ गया
जिंदगी मुझे अब साथ निभाना आ गया
तू तो आती है बस किश्तों किश्तों में
उन किश्तों का मुझे कर्ज चुकाना आ गया

ध्यानी
बालकृष्ण डी ध्यानी
Reactions

एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ