गढ़देश गढ़वाल
जगी जाँवाँ नारैण ............२
उत्तराखंड नारेण गढ़देशा नारैण
जगी जाँवाँ जगी जाँवाँ ये .................
राज नेताओं नारेण नेता गण नारैण
छायो ये पहाडमा नारंगी नारैण
जगी जाँवाँ जगी जाँवाँ ये .................
कोटद्वार नारेण दूँण नारैण
ब्याल शराब ही शराब व्हाई यख गढ़ देश नारैण
जगी जाँवाँ जगी जाँवाँ ये .................
हाथ मा नारेण कमल मा बैठुयाँ नारैण
हाथी मा चढ़यु नारेण सायकल सवार नारैण
जगी जाँवाँ जगी जाँवाँ ये .................
अपक्षा विपक्ष सतापक्ष मा नारैण
दलीय निर्दलीय संग गीजोंच नारैण
जगी जाँवाँ जगी जाँवाँ ये .................
छाल-बली नारैण महाबली नारैण
विपदा गढ़देशा कीले णी सारेण ये नारैण
जगी जाँवाँ जगी जाँवाँ ये .................
रुपयों मा छप्युं नारैण ठेखेदारों का ठेकों मा नारैण
देखा बंजा पुन्गाडा नारैण देखा राड़दा ड़णड़ नारैण
जगी जाँवाँ जगी जाँवाँ ये .................
माया मा नारैण छाया मा नारैण
काया मा नारैण साया मा भी नारैण
जगी जाँवाँ जगी जाँवाँ ये .................
उत्तराखंड गढ़वाल थै जागी दै म्यार नारैण
गढ़ को गण गण थै जगा दै म्यार नारैण
जगी जाँवाँ जगी जाँवाँ ये .................
बेरोजगारी पल्याँण भ्गादै नारैण
प्रगती ये पह्डामा बसादै म्यार नारैण
जगी जाँवाँ नारैण ............२
खैरी विपदा का साथ छुड छुड मेरा नारैण
आपरा लोगों की रक्षा कर कर मेरा नारैण
जगी जाँवाँ नारैण ............२
देख देख नारैण रीटा रीटा ये गढ़ सारा नारैण
गढ़ की बेटी ब्वारी थै दै दे अब त्यारू सरू
जगी जाँवाँ नारैण ............२
कब सवेरा वहाली ये देशा मा नारैण
कब तो दैणु व्हालो म्यार गढ़ देशा मा नारैण
जगी जाँवाँ नारैण ............२
मै दगडी भी तै दगडी भी अपरु नारैण
जगी दयाव गढ़ वासी अपरु जीकोड़ी मा बैठ्युं नारैण
जगी जाँवाँ नारैण ............२
ये बार भाई भुल्हों दै दयावा उताराखंड नारैण
म्यार गढ़देश को उतरखंड को नारैण
विपदा हरी खैरी हरी नारैण
हे नारैण जगी जाँवाँ नारैण ............२
जगी जाँवाँ नारैण ............२
उत्तराखंड नारेण गढ़देशा नारैण
जगी जाँवाँ जगी जाँवाँ ये .................
बालकृष्ण डी ध्यानी
देवभूमि बद्री-केदारनाथ
मेरा ब्लोग्स
http:// balkrishna_dhyani.blogspot.com
मै पूर्व प्रकाशीत हैं -सर्वाधिकार सुरक्षीत
बालकृष्ण डी ध्यानी
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