एक दिन सबुल
एक दिन सबुल
माटू व्हैजाण यखी खापी जाण..२
रै जाली रै जाली बस यख..२
तुम्हरो कियु कम
बाबा दादों को दियू नाम
एक दिन सबुल
माटू व्हैजाण यखी खापी जाण..२
डाली भी जमदी यख बल
सब दे जंद सब कुछ दे जंद
चोल्हो ढुंगा डाली पर
ढुंगा बदल बल डाला की माया ही अंद माया ही अंद
दादा भुल्हो ई बात तू किले भूल जंद किले भूल जंद
एक दिन सबुल
माटू व्हैजाण यखी खापी जाण..२
छोड़ा छाडीकी माटू अपरू
आपरू माटू किले छोड़ जंद , किले छोड़ जंद
माया दगडी वै मा माया किले णी अंद माया किले णी अंद
दोई आँखयूँ मा अंशुं बस हे ...............माया .२
कादगा अपरू थै तिल (गढ़ बिसराया )...३
बादमा मा पछतै की तिल क्या पाया तिल क्या पाया तिल क्या पाया
एक दिन सबुल
माटू व्हैजाण यखी खापी जाण..२
एक दिन सबुल
माटू व्हैजाण यखी खापी जाण..२
रै जाली रै जाली बस यख..२
तुम्हरो कियु कम
बाबा दादों को दियू नाम
एक दिन सबुल
माटू व्हैजाण यखी खापी जाण..२
बालकृष्ण डी ध्यानी
देवभूमि बद्री-केदारनाथ
मेरा ब्लोग्स
http:// balkrishna_dhyani.blogspot.com
मै पूर्व प्रकाशीत हैं -सर्वाधिकार सुरक्षीत
बालकृष्ण डी ध्यानी
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