भाग१३
सुबेर-सुबेर घपरोल
" आजो गढवालि चुटकला" "
छ्वीं -बात- बुबा की खैरि)भुप्पी," ब्वाड़ा ! ले लड्डू खा !ब्वाड़ा," क्याँक लड्डू ?"भुप्पी," ल्या, तुमार लड़िक कू लैंटर प्वाड़ आज सिमेंटेड मकानो कू । हौर क्याँक ?"ब्वाड़ा," कन लैंटर। म्यार त आज कूड़िक धुरपालि छयेंक पूरु ह्वाई। जा ऊबर। बोड़ि मान पकोड़ि ख्यादि उर्दू।"भुप्पि," ल्या करि ला बात। बजारम भैजिक तीन कमरों मकान बणि ग्याइ सिमेंटेड अर ब्वाड़ा पठालु कूड़ि छाणू। त्वते नि पता ब्वाड़ा? "ब्वाड़ा," न भै ना। अब मित वूंक ही बाण यीं कूड़ि छाणू छाई। कि कबि घार आल। अर वेन चुपचाप बजारम मकान भी बणै आल। अर यख धुंवा भी नि आई।"भुप्पि," ब्वाड़ा। अजक्याल क छ्वारा पुराणि चीज पसंद नि करद।" ब्वाड़ा," ठीक बुनु छे बेटा। हम भी पुराण ह्वै ग्याव अब ना । ये वास्त वू हमते भी नि पूछणू कि मकान बणाणु छौं।भुप्पि," ब्वाड़ा लड्डु त रखा।"ब्वाड़ा " ब्याटा। त्वी खा। मि त पुराणी उड़दू पकोड़ि खौल। हाँ वेखुणि बोलि कि हमार मुरण क बाद यीं कूड़ि ते कब्बि लैंटरो नि बणै। कबि लैंटर नि बणै।
छ्वीं -बात- बुबा की खैरि)
भुप्पी," ब्वाड़ा ! ले लड्डू खा !
ब्वाड़ा," क्याँक लड्डू ?"
भुप्पी," ल्या, तुमार लड़िक कू लैंटर प्वाड़ आज सिमेंटेड मकानो कू । हौर क्याँक ?"
ब्वाड़ा," कन लैंटर। म्यार त आज कूड़िक धुरपालि छयेंक पूरु ह्वाई। जा ऊबर। बोड़ि मान पकोड़ि ख्यादि उर्दू।"
भुप्पि," ल्या करि ला बात। बजारम भैजिक तीन कमरों मकान बणि ग्याइ सिमेंटेड अर ब्वाड़ा पठालु कूड़ि छाणू। त्वते नि पता ब्वाड़ा? "
ब्वाड़ा," न भै ना। अब मित वूंक ही बाण यीं कूड़ि छाणू छाई। कि कबि घार आल। अर वेन चुपचाप बजारम मकान भी बणै आल। अर यख धुंवा भी नि आई।"
भुप्पि," ब्वाड़ा। अजक्याल क छ्वारा पुराणि चीज पसंद नि करद।"
ब्वाड़ा," ठीक बुनु छे बेटा। हम भी पुराण ह्वै ग्याव अब ना । ये वास्त वू हमते भी नि पूछणू कि मकान बणाणु छौं।
भुप्पि," ब्वाड़ा लड्डु त रखा।"
ब्वाड़ा " ब्याटा। त्वी खा। मि त पुराणी उड़दू पकोड़ि खौल। हाँ वेखुणि बोलि कि हमार मुरण क बाद यीं कूड़ि ते कब्बि लैंटरो नि बणै। कबि लैंटर नि बणै।


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