भाग ५७
सुबेर-सुबेर घपरोल
" आजो गढवालि चुटकला" "
श्रीमती जी," कख छा तुम ? यूं आठ मास्क पकड़ो अर वीं आपर हेमामालिनी पुष्पा बौक थुबड़ बंद कराव। धरमू बताणू छ्याइ ब्यालि बरड़-बरड़ करणि छै जादा ही।हफ्तों सात दिन अलग- अलग पैरणि रैलि वा।"श्रीमान जी," पर यी त आठ छन।भौत दिन ह्वै गैन पुष्पा बौक अदरक वालि चा बि नि प्याई।"श्रीमती जी," क्वी जरुरत नि।सात वीं खुणि छन अर आठों मास्क तुमार गिच्चू बंद करणो। वींक क्या पता सर्रा दुन्या घुमणि रैंद भजन गाणि रैंद। वख मास्क नि उतारिन बिलकुल ।"श्रीमान जी," त मिन चा कनकै पीण भै।"श्रीमती जी," मि बणोल द्वी कप। झट जाव अर फट आव।"श्रीमान जी," पर . . "श्रीमती जी," पर -पुर लेकिन -वेकिन कुछ नि सुणना मिन अब ।"श्रीमान जी," त मि नि जाणो। ब्वारी हि दी आलि। अब वूंक बि चा पिणो टैम ह्वै ग्याइ।"श्रीमती जी," ब्वारी त कतै नि भिजण अब विंक ध्वार।"(ब्वारिक प्रवेश).ब्वारी," मम्मी जी। आपने चाय बनाई है क्या? मैं चाय पीकर पुष्पा ताई के घर जा रही हूँ। वो जया मैड से बात करने।"श्रीमती जी," बेटा! बस अबि बणांद बढिया चा अदरक वालि। धरमूक पिताजी जाणा छन वख।वी बात कैरि द्य्याल।"श्रीमान जी," पर. . मिन क्या . . श्रीमती जी,"तुम अबि गै नि छाव !निथर मि ही चलि जांदू।"श्रीमान जी," कख ?मैत क्या! पर मिन त कुछ नि ब्वाल . . . लेकिन. . .
श्रीमती जी," कख छा तुम ? यूं आठ मास्क पकड़ो अर वीं आपर हेमामालिनी पुष्पा बौक थुबड़ बंद कराव। धरमू बताणू छ्याइ ब्यालि बरड़-बरड़ करणि छै जादा ही।
हफ्तों सात दिन अलग- अलग पैरणि रैलि वा।"
श्रीमान जी," पर यी त आठ छन।भौत दिन ह्वै गैन पुष्पा बौक अदरक वालि चा बि नि प्याई।"
श्रीमती जी," क्वी जरुरत नि।सात वीं खुणि छन अर आठों मास्क तुमार गिच्चू बंद करणो। वींक क्या पता सर्रा दुन्या घुमणि रैंद भजन गाणि रैंद। वख मास्क नि उतारिन बिलकुल ।"
श्रीमान जी," त मिन चा कनकै पीण भै।"
श्रीमती जी," मि बणोल द्वी कप। झट जाव अर फट आव।"
श्रीमान जी," पर . . "
श्रीमती जी," पर -पुर लेकिन -वेकिन कुछ नि सुणना मिन अब ।"
श्रीमान जी," त मि नि जाणो। ब्वारी हि दी आलि। अब वूंक बि चा पिणो टैम ह्वै ग्याइ।"
श्रीमती जी," ब्वारी त कतै नि भिजण अब विंक ध्वार।"
(ब्वारिक प्रवेश).
ब्वारी," मम्मी जी। आपने चाय बनाई है क्या? मैं चाय पीकर पुष्पा ताई के घर जा रही हूँ। वो जया मैड से बात करने।"
श्रीमती जी," बेटा! बस अबि बणांद बढिया चा अदरक वालि। धरमूक पिताजी जाणा छन वख।वी बात कैरि द्य्याल।"
श्रीमान जी," पर. . मिन क्या . .
श्रीमती जी,"तुम अबि गै नि छाव !निथर मि ही चलि जांदू।"
श्रीमान जी," कख ?मैत क्या! पर मिन त कुछ नि ब्वाल . . . लेकिन. . .


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